अशुभ विचारों को रोकता है नवकार महामंत्र

नवकार परिवार की मेजबानी में नृसिंह वाटिका पर पहली बार तीन हजार आराधकों ने 45 करोड़ जाप किए
इंदौर। जो मन को स्थिर करे वही मंत्र होता है। आने वाले अशुभ विचारों को रोकने का काम करता है नवकार महामंत्र। जीवन मंे नकारात्मक ऊर्जा को सकारात्मक बनाने में इस महामंत्र की बड़ी भूमिका है। इसके सतत जाप करने से आधी-व्याधि भी दूर हो जाती है। मंत्रों का राजाधिराज है नवकार महामंत्र। जिनेवा में हुए विश्व सम्मेलन में भी नवकार महामंत्र को सर्वश्रेष्ठ घोषित किया गया है।
ये दिव्य विचार हैं पीपली बाजार में चातुर्मास हेतु विराजित जैन संत बंधु बेलड़ी आचार्य के शिष्य सम्यगचंद्र सागर म.सा. एवं मनकचंद्र सागर म.सा. के, जो उन्होंने आज बिजासन रोड स्थित नृसिंह वाटिका पर नवकार परिवार इंदौर की मेजबानी में सुसज्जित मंच से नवकार महामंत्र के 45 करोड़ जाप के अनूठे अनुष्ठान में शामिल तीन हजार से अधिक आराधकों को आशीर्वचन देते हुए व्यक्त किए।
महिलाएं केशरिया और पुरूष श्वेत परिधान में शामिल हुए। कार्यक्रम मंे शहर में विराजित साधु-साध्वी भगवंत बड़ी संख्या मंे निश्रा प्रदान करने के लिए उपस्थित थे। नृसिंह वाटिका का संपूर्ण परिसर आज नवकार महामंत्र के मंगलमय सामूहिक उद्घोष एवं जाप से गुंजायमान बना रहा। प्रारंभ में नवकार परिवार की ओर से महेंद्र गुरूजी एवं प्रवीण गुरूजी ने अनुष्ठान की रूपरेखा बताई।
इस अवसर पर श्रीमती ताराबाई मोगरा, सीए सौरभ कोठारी, शांतिलाल पामेचा, मनोहरलाल जैन, भरत-सुनीता चंगेरिया आदि ने सभी समाजबंधुओं की अगवानी की। अनुष्ठान में शामिल सभी आराधकों के लिए सुंदर जाप सम्पुट माला भी प्रदान की गई।
विधायक सुदर्शन गुप्ता, पार्षद दीपक जैन टीनू, समाजसेवी चंदनमल चौरडिया, डॉ. प्रकाश बांगानी, शरद शाह, शांतिप्रिय डोसी तथा नवकार परिवार के युवाओं ने आराधकों का बहुमान किया।
इस अवसर पर नवकार मंत्र के उद्घोष के साथ संगीत की संगत भी आकर्षण का केंद्र बनी रही। कार्यक्रम स्थल पर आकर्षक नवकार मंदिर एवं प.पू. सागर म.सा. का गुरू मंदिर भी बनाया गया था। मुनिश्री जिनमणिप्रभ सूरी म.सा. एवं विनयमुनि म.सा भी उपस्थित थे।
नवकार परिवार के प्रवीण गुरूजी ने बताया कि शहर में यह पहला मौका था जब समाजबंधुओं ने एक ही स्थान पर बैठकर लगातार 45 करोड़ नवकार महामंत्र का सामूहिक जाप किया।
संतश्री सम्यकचंद्र सागरजी म.सा. एवं मनकचंद्र सागर म.सा. ने आराधकों को जाने-अनजाने में जाप की संख्या की गणना में हुई त्रुटि के लिए शेष जाप अपने-अपने घरों पर करने का संकल्प भी दिलाया। श्री अबुर्द गिरिराज जैन श्वेतांबर तपागच्छ उपाश्रय ट्रस्ट इंदौर के सहयोग से यह दिव्य अनुष्ठान लगभग 4 घंटों में संपन्न हुआ।
मुनिश्री सम्यकचंद्र सागर म.सा. ने कहा कि नवकार महामंत्र एक ऐसा चमत्कारिक उपक्रम है, जिसके जाप एवं श्रवण मात्र से ही आत्मकल्याण का मार्ग प्रशस्त हो जाता है। विज्ञान ने भी इस मंत्र की उपयोगिता स्वीकार की है।
यह माना गया है कि जहां कहीं नवकार मंत्र का मंगल उच्चारण होता है, वहां सुख-शांति और समृद्धि का कभी अभाव नहीं रहता। यह किसी एक धर्म या पंथ के लिए नहीं, जीव मात्र के लिए आत्म उद्धार का सबसे सरल माध्यम है। इसका जितना अधिक जाप करेंगे, उतना अधिक मन निर्मल और पवित्र होगा।

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